
मुंगेली जिले के सरगांव के पास गुरुवार तड़के दिल दहला देने वाला हादसा हुआ।राष्ट्रीय राजमार्ग 130 पर तेज़ रफ्तार अज्ञात वाहन ने सड़क किनारे बैठे गौवंशों के झुंड को बेरहमी से कुचल डाला। इस दर्दनाक घटना में 18 गौवंशों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि 4 गंभीर रूप से घायल हैं और उनकी जान बचाने की कोशिशें जारी हैं। हादसे के बाद ग्रामीणों और गौरक्षकों में गहरा आक्रोश है। गुरुवार सुबह का वक्त था… मुंगेली जिले के ग्राम किरना के पास NH-130 पर सड़क किनारे गौवंश बैठे थे… लेकिन कुछ ही सेकंड में तेज़ रफ्तार से आई मौत ने उन्हें रौंदकर रख दिया। 22 में से 18 ने मौके पर ही दम तोड़ दिया, बाकी 4 गंभीर हालत में ज़िंदगी और मौत से जूझ रहे हैं।हादसे के बाद का नजारा बेहद दर्दनाक था सड़क पर बिखरा खून, तड़पते मवेशी और बेबस ग्रामीण… घंटों तक कोई राहत नहीं पहुंची। लोगों की आंखों में आंसू और दिल में गुस्सा साफ झलक रहा था।स्थानीय ग्रामीणों का कहना है कि यह पहली घटना नहीं है। कई बार तेज़ रफ्तार वाहन मवेशियों को कुचल चुके हैं, लेकिन जिम्मेदार विभाग और प्रशासन ने आज तक कोई ठोस व्यवस्था नहीं की। उनका आरोप है कि यह सिस्टम की नाकामी और संवेदनहीनता का नतीजा है।

घटना की जानकारी मिलते ही विश्व हिंदू परिषद, बजरंग दल और गौरक्षक संगठन मौके पर पहुंचे। उन्होंने गुस्से का इजहार करते हुए राष्ट्रीय राजमार्ग-130 को जाम कर दिया और दोषियों की गिरफ्तारी, गोचर भूमि को मुक्त कराने और गौ-अभयारण्य स्थापित करने की मांग की।तनाव को देखते हुए कलेक्टर कुन्दन कुमार, पुलिस अधीक्षक भोजराम पटेल, जिला पंचायत सीईओ प्रभाकर पांडेय सहित प्रशासनिक अमला मौके पर पहुंचा। घायल पशुओं को तुरंत पशु चिकित्सकों की देखरेख में भेजा गया, जबकि मृत मवेशियों का पोस्टमार्टम कर सरगांव के समीप दफनाया गया।जिला प्रशासन ने घटना की विस्तृत जांच के आदेश दिए हैं और सभी संबंधित विभागों को भविष्य में ऐसी घटनाएं रोकने के लिए सतर्कता बरतने के निर्देश दिए गए हैं। हालांकि, ग्रामीणों का कहना है कि जब तक सख्त कार्रवाई और स्थायी समाधान नहीं होगा, तब तक ऐसी ‘कुचलने की हत्याएं’ जारी रहेंगी।