
बिलासपुर छत्तीसगढ़ के सरकारी स्कूलों में कार्यरत 43,301 अंशकालीन स्कूल सफाई कर्मचारियों की दशा अत्यंत दयनीय होती जा रही है। इसी क्रम में छत्तीसगढ़ अंशकालीन स्कूल सफाई कर्मचारी कल्याण संघ, जिला बिलासपुर ने मुख्यमंत्री, स्कूल शिक्षा सचिव और संचालक को ज्ञापन सौंपते हुए अपनी मांगें रखीं हैं। ज्ञापन में उल्लेख किया गया है कि बिलासपुर जिले में लगभग 1800 स्कूल सफाई कर्मचारी बीते 15 वर्षों से मात्र 3124 रुपए मासिक मानदेय पर कार्य कर रहे हैं। वे नियमित शिक्षकों की तरह कार्य तो करते हैं, लेकिन उन्हें वेतन, सुरक्षा या अन्य सरकारी लाभ नहीं मिलते। इस कम दर पर आज की महँगाई में जीवन यापन करना उनके लिए मुश्किल होता जा रहा है।संघ के अनुसार, छत्तीसगढ़ में 10,461 स्कूलों का युक्तिकरण किया जा रहा है, जिसके तहत बिलासपुर जिले की 431 स्कूलें प्रभावित हो रही हैं। एक स्कूल के बंद होने या समायोजन की स्थिति में कर्मचारियों की नौकरी भी समाप्त हो जाती है, जिससे वे बेरोजगार हो जाते हैं। सफाई कर्मियों का कहना है कि अधिकांश कर्मचारी 40 से 50 वर्ष की उम्र पार कर चुके हैं और वे सरकार की नौकरी के लिए निर्धारित उम्र सीमा पार कर चुके हैं। अब उनके सामने आजीविका चलाने का कोई साधन नहीं बचता, जिससे कई परिवार गंभीर आर्थिक संकट में आ जाते हैं। संघ ने सरकार से मांग की है कि सभी स्कूल सफाई कर्मचारियों का पूर्णकालिक शिक्षकों की तरह स्थायीकरण किया जाए और उन्हें नियमानुसार वेतन भुगतान किया जाए। साथ ही, युक्तिकरण के कारण जिनकी नौकरी जा रही है, उनका समायोजन अन्य स्कूलों में किया जाए, ताकि वे बेरोजगार न हों।