
बिलासपुर, तखतपुर विकासखंड के ग्राम बांधा में प्रधानमंत्री आवास योजना को लेकर बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया है। इस योजना के तहत स्वीकृति तो किसी एक व्यक्ति के नाम पर हुई, लेकिन राशि का भुगतान किसी और व्यक्ति के खाते में कर दिया गया। ऐसी गड़बड़ी केवल एक-दो मामलों में नहीं बल्कि आधा दर्जन से अधिक मामलों में सामने आई है। शिकायतकर्ताओं ने आरोप लगाया है कि इस गड़बड़ी में गांव के स्थानीय कर्मचारी और जनपद पंचायत के अधिकारी शामिल हैं। उनका कहना है कि पात्र हितग्राहियों के नाम पर आवास स्वीकृत तो किया गया, लेकिन बाद में योजनाबद्ध तरीके से नामों में फेरबदल कर राशि का भुगतान अन्य व्यक्तियों को कर दिया गया। कुछ मामलों में तो पात्र हितग्राही का नाम ही सूची से हटा दिया गया और फर्जी नाम डालकर आवास का लाभ उठा लिया गया। इस गंभीर मामले को लेकर ग्रामीणों में भारी आक्रोश है। उनका कहना है कि यह कोई सामान्य चूक नहीं, बल्कि सुनियोजित तरीके से किया गया आर्थिक घोटाला है। इसके पीछे सक्रिय एक पूरा गिरोह काम कर रहा है जो आवास योजना के नाम पर भ्रष्टाचार को अंजाम दे रहा है। पीड़ित ग्रामीणों ने इस फर्जीवाड़े की शिकायत संबंधित उच्च अधिकारियों से की है और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है।इस मामले ने पंचायत स्तर पर शासन की योजनाओं के क्रियान्वयन पर कई सवाल खड़े कर दिए हैं। यदि समय रहते दोषियों पर कार्रवाई नहीं हुई, तो इसका असर अन्य योजनाओं की विश्वसनीयता पर भी पड़ेगा।